इलाहाबाद हाईकोर्ट का आदेश आ जाने के बाद अब श्री द्रोण गौशाला समिति (पंजीकृत) दनकौर के चुनाव तय तारीख को ही होंगें
कोरोना की तीसरी लहर में अपनी भागेदारी सुनिश्चित करने के लिए भी श्री द्रोण गौशाला समिति है पूरी तरह से तैयारः रजनीकांत अग्रवाल
’विजन लाइव’’ डिजिटल मीडिया ने इस पैनल के प्रबंधक पद के उम्मीदवार और वर्तमान श्री द्रोण गौशाला समिति के प्रबंधक रजनीकांत अग्रवाल से तमाम मुद्दों को लेकर खास बातचीत की हैं। आइए रूबरू कराते हैं किः-
मौहम्मद इल्यास-’’दनकौरी’’/गौतमबुद्धनगर
श्री द्रोण गौशाला समिति (पंजीकृत) दनकौर में चुनाव को लेकर उठा पटक का दौर जारी है। किंतु इन सबके बीच खबर आ रही है कि श्री द्रोण गौशाला समिति के चुनाव तय तारीख 19 सितंबर-2021 को ही होंगे। नामांकन प्रक्रिया भी 8 सितंबर-2021 से शुरू हो जाएगी और जिसमें 11 सितंबर-2021 को नाम वापसी होगी और यदि चुनाव आम सहमति से होंगे तो चुनाव परिणाम भी सामने आ जाएगा और यदि चुनावों में मुकाबला होता है तो फिर तय तारीख 19 सिंतबर-2021 को मतदान होगा और फिर मत परिणाम भी घोषित कर दिया जाएगा। श्री द्रोण गौशाला समिति (पंजीकृत) दनकौर की कार्यकारणी का कार्यकाल नंवबर-2021 को समाप्त हो रहा है। इस मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट का आदेश आ जाने के बाद अब श्री द्रोण गौशाला समिति (पंजीकृत) दनकौर के चुनाव तय तारीख को ही होंगे। अब असंतुष्ट गुट की रणनीति क्या होगी क्या असंतुष्ट गुट के लोग चुनावों में भाग लेंगे, अभी कुछ कहना जल्दबाजी ही होगी। किंतु सत्तासीन गुट चुनावों की पूरी तरह से तैयारियों में जुट गया है। चुनाव में जा रहे इस पैनल में अध्यक्ष पद के लिए राकेश कुमार गर्ग जो कि लंबे समय से श्री द्रोण गौशाला समिति के अध्यक्ष पद पर हैं, इस पर चुनाव मैदान में हैं। श्री द्रोण गौशाला समिति के प्रबंधक रजनीकांत अग्रवाल इस बार फिर प्रबंधक पद के लिए चुनाव मैदान में हैं और इस पैनल के खास रणनीतिकार भी है। यदि रजनीकांत अग्रवाल की बात करें तो उनके पिता स्व0 वेदप्रकाश अग्रवाल लंबे समय तक श्री द्रोण गौशाला समिति में प्रबंधक पद को सुशोभित करते रहे थे। उस समय रजनीकांत अग्रवाल भी, पिता स्व0 वेदप्रकाश अग्रवाल के साथ श्री द्रोण गौशाला समिति के कार्यो में हाथ बटाया करते थे और इसकी प्ररेणा भी उन्हेंं अपने पिता स्व0 वेदप्रकाश अग्रवाल से ही मिली। वहीं श्री द्रोण गौशाला समिति में उपाध्यक्ष पद के लिए मोहित गर्ग चुनाव मैदान में हैं। जब कि उप्रबंधक पद के लिए संजीव मांगलिक और कोषाध्यक्ष पद के लिए मनीष कुमार अग्रवाल चुनाव मैदान में डटे हुए हैं। प्रबंधकारणी सदस्य पदों के लिए इस पैनल से सुशील कुमार मांगलिक उर्फ सुशील बाबा, संजय कुमार गोयल, राजकुमार गोयल, पंकज गर्ग, मनोज कुमार त्यागी, मुकुल बंसल और मनीष सिंघल भट्ठे वाले चुनाव मैदान में हैं। ’’विजन लाइव’’ डिजिटल मीडिया ने इस पैनल के प्रबंधक पद के उम्मीदवार और वर्तमान श्री द्रोण गौशाला समिति के प्रबंधक रजनीकांत अग्रवाल से तमाम मुद्दों को लेकर खास बातचीत की हैं। आइए रूबरू कराते हैं किः-
विजन लाइवः- श्री द्रोण गौशाला समिति में आप किन किन पदों पर रहे हैं और प्रेरणा कैसे मिली?
रजनीकांत अग्रवालः- वर्ष 2016 में श्री द्रोण गौशाला समिति में पहली बार उपप्रबंधक पर नियुक्ति मिली और फिर वर्ष 2018 में प्रबंधक पद की जिम्मेदारी मिली। श्री द्रोण गौशाला में गायों की सेवा करने की प्रेरणा पिता स्व0 वेदप्रकाश अग्रवाल जी से मिली। पिता स्व0 वेदप्रकाश अग्रवाल ने एक लंबे समय तक श्री द्रोण गौशाला समिति में प्रबंधक पद को सुशोभित किया था।
विजन लाइवः- किन मुद्दों के सहारे एक बार फिर चुनाव में जा रहे हैं?
रजनीकांत अग्रवालः- देखिए, श्री द्रोण गौशाला समिति एक धार्मिक संस्था है, जहां गायों की सेवा और रखरखाव का कार्य किया जाता है। इसके साथ ही श्री द्रोण गौशाला समिति की कई उप संस्थाएं भी हैं, जिनमें श्री द्रोणाचार्य स्नातकोत्तर महाविद्यालय, एसडीआरवी कॉन्वेंट स्कूल, बाबा सूखामल डालचंद नंबरदार चिकित्सालय एवं रमेशचंद विद्यावती डायग्नोस्टिक सेंटर और बाबा श्री गुरू द्रोणाचार्य मंदिर हैं। गौशाला के सर्वांगीण विकास के लिए जो भी आवश्यक हुआ, उसे समय पर उपलब्ध कराया, गायों की सेवा की और गायों के लिए टीन शैड आदि कई तरह के विकास कार्य कराए और जो कार्य रह गए उन्हें पूरा कराने के लिए उनकी पूरी टीम चुनाव मैदान में हैं।
विजन लाइवः- श्री द्रोण गौशाला में फिलहाल गाय व गौवंशों की संख्या क्या है?
रजनीकांत अग्रवालः- फिलहाल श्री द्रोण गौशाला में तकरीबन 800 गायें और गौवशं हैं।
विजन लाइवः- बात यदि गौशाला के आंतरिक विकास की जाए तो इस कार्यकाल में किन परियोजनाओं पर काम हुआ है?
रजनीकांत अग्रवालः- बिल्कुल, श्री द्रोण गौशाला में इस बार 4 नए शैड बनवाए गए हैं और इस परियोजना की लागत जो कि करीब 70 लाख रूपये आई है। यह नए शैड पर खर्च की गई राशि कोई अनुदान में नही मिली है बल्कि गौशाला समिति द्वारा संग्रह आय और दान के द्वारा जो राशि है उससे नए शैड बनवाए गए हैं। नए शैड पूरी तरह से हवादार हैं और अत्याधुनिक तरीके से बनवाए गए हैं। इसके अलावा गौशाला के अंदर जो भी रास्ते जहां पर खरंजे टूट गए थे उन्हें भी पुनः निर्मित कराया गया गया है।
विजन लाइवः- बात यदि अनुदान की करें तो यूपी की योगी सरकार में गौशालाओं को क्या अनुदान नही मिल रहा है? इसके लिए श्री द्रोण गौशाला समिति किस स्थान पर आती है?
रजनीकांत अग्रवालः-जी, बिल्कुल। अनुदान मिल रहा है और श्री द्रोण गौशाला समिति को भी सरकार की ओर से अनुदान मिला हैं। इसमें श्री द्रोण गौशाला को एक बार 56 लाख रूपये और फिर दूसरी बार 60 लाख मिले हैं। इस सरकारी अनुदान को गायों की देखभाल, चारे पानी, रातव यानी पोषण और भूसा आदि पर खर्च किया जाता है। कई बार दान कम मिलता है या दान समय पर नही मिलता, तो गायों के चारे पानी और रातव पोषण आदि कार्य को इस अनुदान के सहारे किया जाता है।
विजन लाइवः- श्री द्रोण गौशाला समिति की आय का मुख्य स्रोत क्या है और व्यय कहां करना पडता है?
रजनीकांत अग्रवालः- श्री द्रोण गौशाला समिति की कई उपंस्थाएं है। इसके अलावा श्री द्रोण गौशाला समिति की आय का मुख्य स्रोत दुग्ध उत्पादन ही है। प्रतिदिन करीब 1 कंतुल तक दूध का उत्पादन होता है और जिससे प्रतिदिन 5 हजार रूपये तक की आय हो जाती है। इसके अलावा कुछ दुकानें भी हैं। जब कि व्यय की बात करें तो गायों के चारे पानी, भूसा, खल रातव और रखरखाव के साथ कर्मचारी भी हैं जिन्हें हर महीने वेतन भी देना पडता है।
विजन लाइवः- श्री द्रोण गौशाला समिति की करीब 150 बीघा भूमि स्पोर्ट सिटी यानी फॉर्मूला-1 में चली गई, उसके बदले गौशाला को कुछ मिला है?
रजनीकांत अग्रवालः- जी, जिस समय श्री द्रोण गौशाला समिति की करीब 150 बीघा भूमि स्पोर्ट सिटी यानी फॉर्मूला-1 में गई थी उस समय गौशाला का एक लिखित समझौता हुआ था कि हर 15 दिन में गायों के चारे पानी और रखरखाव के लिए 5 लाख रूपये दिया जाएगा कुछ दिन तो यह पैसा मिला, मगर पल्ला झाडा जाने लगा। इस मामले को लेकर गौशाला समिति कोर्ट में चली गई है और फिलहाल यह मामला कोर्ट में विचाराधीन है।
विजन लाइवः- अंसतुष्ट के लोग यह आरोप लगा रहे हैं कि गौशाला की विकास परियोजना में टेंडर प्रक्रिया अपनाई जानी चाहिए चाहे वह नए शैड हो या फिर खल रातव आदि हो, जब कि ऐसा नही हुआ है?
रजनीकांत अग्रवालः- देखिए, श्री द्रोण गौशाला समिति एक धार्मिक संस्था है, पहले से ही यहां पर टेंडर प्रक्रिया की परिपाटी नही रही है। इसका सबसे बडा कारण है कि दान का पैसा कब आएगा और कितना आएगा? कुछ स्पष्ट नही होता है। मानों टेंडर प्रक्रिया अपना ली और टेंडर जारी कर काम दे दिया गया, अब पैसा दान से नही आया और या कम आया तो फिर काम करने वाली संस्था की देनदारी कैसे कर पाएंगे?
विजन लाइवः- श्री द्रोण गौशाला समिति के करीब 498 सदस्यों का मुद्दा भी विपक्ष की ओर से खूब उछल रहा है कि उक्त सदस्य समिति की 4 बैठकों में निरंतर अनुपस्थित रहे हैं और समिति के संवधिन के अनुसार उक्त सदस्यों की सदस्यता निरस्त समझी जानी चाहिए?
रजनीकांत अग्रवालः- देखिए, अभी तक इस संबंध में समिति को किसी सदस्य अथवा सम्मानित नागरिक की ओर से कोई आपत्ति अथवा कोई शिकायत प्राप्त नही हुई है यदि भविष्य में कोई आपत्ति अथवा शिकायत आती है तो विधिक परामर्श के बाद जो भी संविधान के अनुसार कार्यवाही जरूरी होगी, अवश्य ही की जाएगी।
विजन लाइवः- विपक्ष का यह भी आरोप है कि चुनाव संविधान के अनुसार नही हो रहे हैं प्रबंधकारणी की बैठक में बगैर प्रस्ताव पारित किए चुनावों की घोषणा कर दी गई है?
रजनीकांत अग्रवालः- ऐसा नही है, बगैर प्रस्ताव पारित किए तो चुनावों की प्रक्रिया शुरू ही नही हो सकती है। श्री द्रोण गौशाला समिति का यह कार्यकाल नंबर-2021 में समाप्त हो रहा है। इसी क्रम में श्री द्रोण गौशाला समिति (पंजीकृत) ने दिनांक 6 जून-2021 को बैठक आयोजित कर चुनाव कराए जाने का प्रस्ताव पारित किया था। तत्पश्चात डिप्टी रजिस्ट्रार मेरठ ने चुनाव कराए जाने की अनुमति देते हुए 19 सिंतबर 2021 तारीख तय की थी। चुनाव अधिकारी के रूप में राजेश्वर दयाल शर्मा एडवोकेट मेरठ को नियुक्त किया गया था।
विजन लाइवः- यदि इस बार फिर आपका पैनल चुनाव में जीत कर आता है तो क्या प्राथकिताएं और लक्ष्य क्या होगा?
रजनीकांत अग्रवालः- यदि इस बार फिर यह टीम लौट कर आती है तो जो भी अधूरा कार्य कर गए थे उनकों पूरा कराया जाएगा। इसके साथ ही कुछ नई परियोजनाएं लाई जाएगी। इनमें मुख्य तौर पर श्री द्रोणचार्य स्नातकोत्तर महाविद्यालय में बी-फार्मा, एलएलबी, बीएएलएलबी जैसे कोर्स और स्नातकोत्तर स्तरीय कई तरह के कोर्स लाए जाएंगे। साथ ही महाविद्यालय में एक अत्याधुनिक पुस्तकालय जिसमें कम से कम 25 हजार पुस्तकों का संग्रह हो बनवाया जाएगा। साथ ही बाबा श्री गुरू द्रोणाचार्य मंदिर का जो भी विकास अधूरा रह गया है उसे पूरा कराया जाएगा। श्री द्रोण गौशाला में गायों के उठने बैठने के लिए एक बडा विश्राम स्थल बनवाया जाना, पहली प्राथमिकता होगी। इसके लिए गौशाला के पास पहले से ही करीब 10 बीघा भूमि उपलब्ध है। इस गौ विश्रामशाला को शैड के द्वारा कवर किया जाएगा जहां दिन के समय मूल शैडों से निकाल कर कुछ समय के लिए गायों को विश्रामशाला में रखा जाएगा। इसके साथ ही कोरोना की तीसरी लहर में अपनी भागेदारी सुनिश्चित करने के लिए भी श्री द्रोण गौशाला समिति पूरी तरह से तैयार है। बाबा सूखामल डालचंद नंबरदार चिकित्सालय को कोविड-19 के लिए उच्चीकृत किए जाने के लिए प्रस्ताव भेजा चुका है जिसमें ऑक्सीजन प्लांट लगाया जाना भी प्रस्तावित है, संभवत अगले महीने ही यह ऑक्सीजन प्लांट यहां लगा दिया जाएगा।